दोस्त ही निकला मृतक संदीप का कातिल, आत्महत्या का रूप देने का किया था प्रयास

विकासनगर : देहरादून पुलिस ने ब्लाइंड मर्डर केस खुलासा किया है। दरअसल कालसी थाना क्षेत्रांतर्गत पुलिस को अमलावा नदी के किनारे स्थित फार्म हाउस के अन्दर एक व्यक्ति का शव लटका हुआ मिलने की सूचना प्राप्त हुई थी। सूचना पर पुलिस बल तुरंत घटनास्थल पर पहुंचा। मृतक की पहचान संदीप उर्फ माघू निवासी ग्रा0 डिण्डाल, हाल निवासी हरिपुर, कालसी के रूप में हुई। घटना संदिग्ध प्रतीत होने पर तत्काल मृतक के परिजनों को सूचित करते हुए फील्ड यूनिट की टीम को मौके पर बुलाया गया और घटनास्थल से जरूरी सबूत एकत्रित किये गए। परिजनों द्वारा दी गई तहरीर के आधार पर मुकदमा दर्ज किया गया।

जिसके बाद एसएसपी देहरादून अजय सिंह ने थानाध्यक्ष कालसी को तत्काल अलग-अलग टीमों का गठन करने के निर्देश दिए। गठित टीम ने घटना के सम्बन्ध में स्थानीय लोगों से जानकारी प्राप्त करते हुए घटना स्थल और उसके आस-पास के क्षेत्रों के लगभग 25 सीसीटीवी कैमरे खंगाले और घटना के सम्बन्ध में स्थानीय लोगों से भी जानकारी ली। मामले का खुलासा करते हुए एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि सीसीटीवी फुटेज में पुलिस को घटना से पहले मृतक के एक दोस्त का स्कूटी में जूते पहनकर जाना और वापसी में नंगे पांव वापस आना संदिग्ध लगा। संदिग्ध गतिविधि के चलते पुलिस ने मृतक के दोस्त शिव सिह राणा को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया। जिससे सख्ती से पूछताछ करने पर उसने सच्चाई उगल दी। पूछताछ में अभियुक्त शिव सिंह राणा ने बताया कि मृतक उसका दोस्त था। अक्सर वह अभियुक्त और उसकी भाभी के संबंधों के विषय में लोगों के सामने टीका-टिप्पणी करता रहता था।

जिस कारण पहले भी उनका विवाद हुआ था। घटना के दिन भी मृतक अभियुक्त को अमलावा नदी के किनारे स्थित फार्म हाउस पर मिला था। इस दौरान मृतक ने फिर अभियुक्त और उसकी भाभी को लेकर टिप्पणी की। जिस पर उनका आपस में विवाद हो गया और अभियुक्त ने मृतक के साथ मार-पीट कर उसे बेहोश कर दिया। उसके बाद आरोपी ने मृतक के गले में फंदा लगाकर उसे पंखे से टांग दिया। घटना को अंजाम देने के बाद आरोपी ने फार्म हाउस के गेट के बाहर ताला लगा दिया और था गेट के बगल वाली जाली को पत्थर से काट दिया। जिससे हत्या को आत्महत्या का रूप दिया जा सके। मृतक से मारपीट के दौरान आरोपी के जूते में मृतक का खून लग गया था। जिन्हें अभियुक्त ने अमलावा नदी में धोने के बाद नदी किनारे ही छुपा कर रख दिया था। जिसे अभियुक्त की निशानदेही पर बरामद किया गया। जुर्म स्वीकार करने के बाद आरोपी को पुलिस ने गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश कर दिया है।